भजन 1: तेरी यादों का सवेरा
आज समर्पण दिवस पे, याद तुम्हारी आई है।
बाबा हरदेव प्यारे, आँखें भर आई हैं॥
तेरा वो मुस्कुराना, हर संत को अपनाना।
प्यार की निर्मल धारा, बनके थे बरसाना॥
सबको गले लगाया, भेद नहीं कोई जाना।
एक निरंकार दाता, रूप तेरा पहचाना॥
तेरे मीठे वचनों ने, जीवन को संवारा।
दी प्रेरणा जीने की, तू ही था सहारा॥
कण-कण में आज भी तुम, महसूस हो रहे हो।
प्रेम की तेरी ज्योत से, रोशन हो रहे हो॥
कैसे कहें शुक्रिया, जो राह दिखाई तुमने।
हर साँस में समर्पण, ये चाह जगाई तुमने॥
तेरी यादों का गुलशन, महकेगा सदा ही।
तू साथ है हमारे, ये दिल कहता सदा ही॥
समर्पण का ये दीपक, बुझने ना देंगे हम।
तेरे प्यार की दौलत, लुटायेंगे हरदम॥
भजन 2: सतगुरु प्यारे, राह दिखा गए
सतगुरु प्यारे बाबा, आशीष तेरा पाया।
हरदेव शाह हमारे, तूने गले लगाया॥
जीवन की राहों पर, बनके प्रकाश आये।
भटके हुओं को तुमने, मंजिल तक पहुंचाये॥
नफरत जहाँ में फैली, तुमने प्रेम सिखाया।
'एक तू ही निरंकार' का, सबको बोध कराया॥
तेरा हर एक करम ही, प्रेरणा का स्रोत था।
मानवता का सागर, तुझमें ओत-प्रोत था॥
तेरी सिखलाई राह पर, हम चलते ही जायेंगे।
सेवा, सुमिरन, सत्संग से, जीवन सफल बनायेंगे॥
समर्पण का ये दिवस, फिर याद दिलाता है।
तेरा दिया हुआ ज्ञान, ही राह दिखाता है॥
आँखों में तेरी सूरत, दिल में तेरा वास है।
हर पल तेरे होने का, हमको अहसास है॥
तेरी कृपा बनी रहे, यही अरदास है दाता।
समर्पित जीवन हो, तुझसे यही नाता॥
भजन 3: समर्पण की मूरत थे तुम
याद में तेरी बाबा जी, दिल भर-भर आता है।
समर्पण दिवस पे तेरा, चेहरा नज़र आता है॥
वो प्यार भरी बातें, वो रहमत की बरसातें।
कैसे भूलें हम बाबा, वो प्यारी मुलाक़ातें॥
जीवन अपना सारा, प्रभु चरणों में वारा।
समर्पण का सच्चा, अर्थ हमें समझाया॥
तुमने जो बीज बोया, वो वृक्ष विशाल हुआ।
निरंकारी मिशन का, रोशन जमाल हुआ॥
तेरी दी हुई ताकत से, हम आगे बढ़ते हैं।
तेरी शिक्षाओं पर ही, समर्पित रहते हैं॥
तेरा नूरानी चेहरा, आँखों में बसा है।
हर संत के जीवन में, तू आज भी हँसा है॥
ये तन, मन, धन सब तेरा, तुझ पर ही वारते हैं।
हम तेरे बच्चे बाबा, तुझको पुकारते हैं॥
समर्पण भाव मन में, हर पल जगाए रखना।
अपनी छत्र छाया में, हमको बनाये रखना॥
भजन 4: शुक्रिया बाबा, तेरा उपकार है
शत शत नमन तुम्हें है, बाबा हरदेव प्यारे।
तुमने जीवन संवारे, हम सबके सहारे॥
समर्पण का ये दिन है, तुमको ही याद करते।
तेरी रहमतों का हम, शुक्रिया अदा करते॥
अज्ञान के अँधेरों से, ज्ञान में ले आये।
निरंकार प्रभु का, दर्शन हमें कराये॥
मानव एकता का, पैगाम तेरा न्यारा।
हर दिल में बस गया है, ये नारा प्यारा प्यारा॥
तेरा जीवन था जैसे, समर्पण की गाथा।
झुकता है तेरे आगे, श्रद्धा से सब का माथा॥
हम भी ये प्रण करते हैं, तेरे दिखाए मार्ग पर।
चलते रहेंगे हरदम, हम सेवा भाव धर कर॥
तेरी यादों की खुशबू, कभी कम ना होगी।
तेरे प्यार की रोशनी, जीवन में सदा रहेगी॥
हे दाता, सद्बुद्धि दो, निभाएं तेरा कहना।
समर्पित हो तुझ पर, हर पल यूँ ही रहना॥
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